घरेलू बाजार में सोने की कीमतें अब तक के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई है. इसके पीछे मुख्य वजह विदेशी बाजारों में लगातार सोने की कीमतों का बढ़ना है. विदेशी बाजारों में इस साल पहली बार सोने का भाव 1,900 डॉलर प्रति औंस के ऊपर पहुंचा है. एक्सपर्ट्स का कहना है अमेरिका में आए कंज्यूमर सेंटीमेंट के अच्छे आंकड़ों के बाद सोने की कीमतों में तेजी रुख जारी रहा. इससे पहले महंगाई दर के डेटा भी बाजार के अनुमान से बेहतर रहे थे. महंगाई में गिरावट देखने को मिली है. इसीलिए बाजार अब ब्याज दरों में बड़ी बढ़ोतरी की उम्मीद नहीं लगा रहा है.
क्यों बढ़ रही हैं सोने की कीमतें-
शुक्रवार को, मिशिगन विश्वविद्यालय ने कंज्यूमर सेंटीमेंट के आंकड़े जारी किए. दिसंबर में ये 59.7 से बढ़कर 64.6 हो गए हैं. बाजार को इनके बढ़कर 60.2 होने की उम्मीद थी. हालांकि, ये आंकड़े पिछले साल के मुकाबले कमजोर है.
इसीलिए अब एक्सपर्ट्स मान रहे हैं कि महंगाई कम हुई है. आर्थिक आंकड़े बेहतर हैं. लिहाजा ब्याज दरों में बड़ी बढ़ोतरी की संभावना नहीं है.
कुछ अर्थशास्त्रियों के अनुसार, कम होती महंगाई ने अमेरिकी सेंट्रल बैंक फेडरल रिजर्व को ब्याज दरों में बड़ी बढ़ोतरी करने से रोक दिया है. इसीलिए सोना का फरवरी वायदा अपने सत्र के उच्च स्तर के करीब है, जो पिछले दिन 0.75% ऊपर 1,913.50 डॉलर प्रति औंस पर कारोबार कर रहा था.
अब कब सस्ता होगा सोना? एक्सपर्ट्स का कहना है कि भारत में सोने की कीमतें ज्यादा तेजी से बढ़ने की संभावना नहीं है. क्योंकि डॉलर कमजोर होने की वजह से रुपया मज़बूत होगा. ऐसे में आने वाले दिनों में सोने की कीमतें ज्यादा तेजी से बढ़ती हुई नहीं दिखाई दे रही है.