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SEBI announcements today in Hindi : अगर आप शेयर बाजार में पैसा लगाते हैं तो ये खबर आपके बेहद काम आने वाली है. क्योंकि शेयर बाजार को रेग्युलेट यानी नियम और निवेशकों के हितों का ख्याल रखने वाली सेबी (Securities and Exchange Board of India ) की बोर्ड बैठक में कई फैसले हुए है.
निवेशकों के लिए आई बड़ी खबर- कई बार स्टॉक मार्केट एक्सचेंज में टेक्निकल गिलीचिस आने पर निवेशकों के सौदे फंस जाते है. ऐसे में निवेशकों को बड़ी छूट मिली है. निवेशक एकसचेंज में अपने सौदे सेटल कर सकते हैं. एक्सचेंज शेयर बाजार की टाइमिंग बढ़ा सकते है. सेबी ने कहा- हमारी तरफ से कोई समस्या नहीं है. इससे पहले RBI भी ट्रेडिंग आवर्स बढ़ाने की मंजूरी दे चुका है.
SEBI ने बायबैक नियमों में बदलाव को मंजूरी दे दी है. आपको बता दें कि शेयर बायबैक उस स्थिति को कहते हैं जब कंपनी अपनी पैसे लगाकर अपने ही शेयर वापस खरीदती है. कंपनी मानती है कि बाजार में शेयर के भाव कम मिल रहे हैं. शेयर बायबैक से कंपनी का इक्विटी कैपिटल कम हो जाता है. नए फैसले के तहत सेबी ने एक्सचेंज रूट के जरिए बायबैक नियम को हटाया दिया है. एक्सचेंज के जरिए अमाउंट यूटिलाइजेशन सीमा को भी बढ़ा दिया है. बायबैक के लिए अमाउंट यूटिलाइजेशन सीमा 75% कर दी है. इससे पहले ये सीमा 50 फीसदी थी. बायबैक को समझाने के लिए अलग विंडो बनाई जाएगी. एक्सचेंज में अलग से विंडो होगी.सभी पुराने नियम चरणबद्ध तरीके से हटाए जाएंगे.
शेयर बायबैक प्राइस पर नया फैसला-बायबैक प्राइस बढ़ाने की छूट मिल गई है. एक दिन पहले तक बायबैक प्राइस बढ़ा सकते हैं. रिकॉर्ड डेट से एक दिन पहले भी बढ़ाए जा सकते है. 18 दिन में शेयर बायबैक प्रोसेस पूरा करना होगा. बायबैक से जुड़े सभी डॉक्युमेंट दिखाना जरूरी है. साथ ही अब बायबैक का विज्ञापन देना भी अनिवार्य हुआ. SEs, मर्चेंट बैंक की वेबसाइट पर इसके बारे में बताना होगा. बायबैक पर ड्राफ्ट फाइल करने का नियम हटा दिया गया है. कुछ बड़े ब्रोकर को QSB बनाया जाएगा. QSB यानी QUALIFIED STOCK BROKER होता है. लेकिन ब्रोकर्स चुनने के लिए भी नियम होंगे. बायबैक टेंडरिंग का समय भी घटाया गया है.
विदेशी निवेशों के लिए आई बड़ी खबर- FPIs-Foreign portfolio Investment से जुड़े नियमों में ढील दी गई है. FPIs के रजिस्ट्रेशन टाइम में कटौती की गई है. इसका मतलब साफ है कि विदेशी निवेशक अब आसानी से शेयर बाजार में पैसा लगा पाएंगे.
ग्रीन के बाद अब आएंगे येलो बॉन्ड्स-ग्रीन डेट सिक्योरिटीज में और कैटेगरी होंगी. वॉटर, मरीन सेक्टर के लिए ब्लू बॉन्ड्स लाएंगे. सोलर एनर्जी सेक्टर के लिए यलो बॉन्ड्स लाएंगे.