CNBC आवाज़ के साथ हुई खास बातचीत में रमेश चौहान ने बताया था कि वो कंपनी से 1962 में पहली बार जुड़े थे. वो अमेरिका से मैकेनिकल इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी करने के बाद सीधे Parle Group से जुड़े हैं. इस कंपनी के साथ अपने काम को लेकर उन्होंने कहा कि सबसे जरूरी बात टैलेंटेड लोगों को अपने साथ काम करने के लिए प्रेरित करना होता है. इस तरह के कारोबार में कोई तय फॉर्मुला नहीं है. यहां बस एक ही फॉर्मुला है, वो ये की प्रोडक्ट की बेहतरी पर ही फोकस करना होगा.
Bisleri को भी Coca-Cola खरीदने वाली थी लेकिन साल 1969 अमित चौहान ने इस मिनरल वॉटर कंपनी को खरीदा था. उन्होंने Bisleri को इटली की एक कंपनी से महज 4 लाख रुपए में खरीदा था. Bisleri आज भारत के मिनरल वॉटर इंडस्ट्री की सबसे बड़ी कंपनी है.
मीडिया रिपोर्ट्स में उनके हवाले से लिखा गया है कि उस दौर में उन्होंने ये सवाल खुद से भी पूछा था कि अगर कोई व्यक्ति कम समय के लिए ट्रैवल कर रहा तो सोडा वॉटर क्यों खरीदेगा? इसके बाद कंपनी ने 500 ml और 1 लीटर की बॉटलिंग शुरू की.
आज आपके Bisleri की बोतल होटल, शादियों, रेलवे से लेकर लगभग हर जगह पर आसानी से मिल जाएंगे. Bisleri को भारत में सबसे पहले मुंबई में Bubbly और Still के दो वेरिएंट में लॉन्च किया गया था.